आरएसएस के वरिष्ठ नेता इंद्रेश कुमार ने ईसाई धर्म से आह्वान किया है कि भेद भाव, धार्मिक कट्टरता और धर्मांतरण को छोड़ कर एक साथ जुड़ कर देश के विकास के लिए आगे आएं। संघ नेता ने कहा कि किसी भी धर्म को किसी दूसरे धर्म पर अटैक नहीं करना चाहिए बल्कि एक साथ एक मंच पर आकर समस्या का समाधान खोजना चाहिए।
सबका खुदा, ईश्वर, गॉड एक है… अगर इस बात को समझ लें तो कहीं भी मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा या गिरिजाघर पर कोई तोड़ फोड़ नहीं होगी। उन्होंने कहा कि दुनिया को धार्मिक असहुष्णता और कट्टरता को खत्म करना होगा। संघ नेता ने विश्वास जताया कि भारत ही दुनिया को शांति का रास्ता दिखाएगा।
उन्होंने कहा की भारत विश्व गुरु था और एक बार फिर से विश्व गुरु बनेगा। उन्होंने कहा कि भारत न कभी सुपर पावर था और न ही बनना है। संघ नेता नई दिल्ली में क्रिसमस सेलिब्रेशन के एक कार्यक्रम में संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री आरके सिंह और इंदौर के सांसद शंकर लालवानी, दिल्ली के सांसद रमेश विधूरी समेत देश विदेश के अनेकों आर्क बिशप और बिशप मौजूद थे।
केंद्रीय मंत्री आरके सिंह ने कहा कि मेरी बहुत अच्छी यादें क्रिसमस से जुड़ी हैं। मैंने कॉन्वेंट स्कूल में पढ़ाई की और कॉलेज सेंट स्टीफेंस से पूरा किया। क्रिसमस शांति का पैगाम देता है और वक्त है इसको और मजबूत करने का। हर धर्म, समाज के लोगों की इज्जत करने है। सभी का सम्मान करना चाहिए। दुनिया में एक अकेला देश भारत है जो हर धर्म समाज को अपने अंदर समाता है।
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